आपकी खोज से संबंधित
परिणाम "sabr o shukr tahniyat ebooks"
अत्यधिक संबंधित परिणाम "sabr o shukr tahniyat ebooks"
ग़ज़ल
तिरी दुनिया में सब्र ओ शुक्र से हम ने बसर कर ली
तिरी दुनिया से बढ़ कर भी तिरे दोज़ख़ में क्या होगा
हरी चंद अख़्तर
ग़ज़ल
मोहब्बत में हैं सब्र-ओ-शुक्र के हर-चंद हम क़ाइल
मगर कुछ कुछ कभी लब पर शिकायत आ ही जाती है
राधे शियाम रस्तोगी अहक़र
पुस्तकें के संबंधित परिणाम "sabr o shukr tahniyat ebooks"
अन्य परिणाम "sabr o shukr tahniyat ebooks"
ग़ज़ल
'शाकिर' नहीं है रब्त जिन्हें सब्र ओ शुक्र से
हैवाँ है वो जो सूरत-ए-इन्साँ में आ गए
शाकिर इनायती
ग़ज़ल
तू चाहता है अगर सब्र-ओ-शुक्र की दौलत
फ़क़ीर लोगों की सोहबत में दिन गुज़ारा कर
ख़ुर्शीद अम्बर प्रतापगढ़ी
ग़ज़ल
फ़सील-ए-शुक्र में हैं सब्र के हिसार में हैं
जहाँ गुज़र नहीं ग़म का हम उस दयार में हैं
हयात वारसी
ग़ज़ल
तल्क़ीन-ए-सब्र-ओ-शुक्र है वाइज़ का मश्ग़ला
क्या उस की गुफ़्तुगू है नहूसत लिए हुए
मुमताज़ अहमद ख़ाँ ख़ुशतर खांडवी
ग़ज़ल
तल्क़ीन-ए-सब्र-ओ-शुक्र ज़बाँ पर है रात दिन
दिल को मगर मता'-ए-फ़ुज़ूँ की तलाश है