सरवत हुसैन की टॉप 20 शायरी
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कभी तेग़-ए-तेज़ सुपुर्द की कभी तोहफ़ा-ए-गुल-ए-तर दिया
किसी शाह-ज़ादी के इश्क़ ने मिरा दिल सितारों से भर दिया
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मिरे सीने में दिल है या कोई शहज़ादा-ए-ख़ुद-सर
किसी दिन उस को ताज-ओ-तख़्त से महरूम कर देखूँ
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