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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : रुख़्साना निकहत लारी उम्म-ए-हानी

प्रकाशक : मीर अकादमी, लखनऊ

प्रकाशन वर्ष : 1990

भाषा : Urdu

श्रेणियाँ : महिलाओं की रचनाएँ

पृष्ठ : 405

सहयोगी : ख़ानक़ाह मुनीमिया क़मरिया, पटना

अल्लामा सय्यद मुर्तज़ा बलगिरामी ज़ुबैदी हयात और इल्मी कारनामे
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