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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : शफ़क़त काज़मी

संस्करण संख्या : 001

प्रकाशक : इदारा-ए-फ़रोग़-ए-उर्दू, लाहौर

मूल : लाहौर, पाकिस्तान

प्रकाशन वर्ष : 1970

भाषा : Urdu

पृष्ठ : 149

सहयोगी : जामिया हमदर्द, देहली

dagh-e-hasrat
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लेखक: परिचय

शफ़्क़त काज़मी, सय्यद फ़ज़्लुल-हसन (1914-1975) सादालफ़्ज़ों में गहरी बातें कहने वाले ग़ज़ल शाइर। डेरा ग़ाज़ी ख़ाँ (अब पाकिस्तना) में जन्म। बाक़ायदा शिक्षा पूरी न कर सके, उर्दू-फ़ारसी अपने तौर पर पढ़ी। घर के हालात ख़राब थे जिस से मज्बूर हो कर चपरासी की नौकरी कर ली। ‘हसरत’ मोहानी के शागिर्दों में थे।

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