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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : ज़िया जालंधरी

प्रकाशक : टेली मेग, इस्लामाबाद

प्रकाशन वर्ष : 2007

भाषा : Urdu

श्रेणियाँ : शाइरी

उप श्रेणियां : कुल्लियात

पृष्ठ : 525

सहयोगी : शमीम हनफ़ी

kulliyat-e-ziya
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लेखक: परिचय

ज़िया जालन्धरी, सय्यद ज़िया निसार अहमद (1923-2012) उर्दू की आधुनिक शाइरी को एक नर्इ विचार-भावात्मक ऊर्जा देने वाले शाइरों में शामिल। नज़्में ज़ियादा लिखीं मगर ग़ज़ल में भी एक नए प्रेम-अनुभव का संचार किया। लाहौर में जन्म मगर ननिहाल जलन्धर का था इस लिए जलन्धरी हो गए। रेडियो समेत कर्इ बड़े सरकारी पदों पर रहे। पंजाबी में भी शाइरी करते थे।

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