Font by Mehr Nastaliq Web

aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : हसन बरेलवी

प्रकाशक : राजा राम नवल किशोर बुक डिपो, लखनऊ

प्रकाशन वर्ष : 1969

भाषा : Urdu

श्रेणियाँ : धर्म-शास्त्र

उप श्रेणियां : इस्लामियात

पृष्ठ : 68

सहयोगी : मुंशी नवल किशोर, लखनऊ

majmua-e-khutab-e-ilmi
For any query/comment related to this ebook, please contact us at haidar.ali@rekhta.org

पुस्तक: परिचय

زیر نظر کتاب دینی خطبوں پر مشتمل ہے۔ اس میں جمعہ کے خطبے، رمضان کے فضائل پر خطبے ، عید الاضحی کے علاوہ نکاح کے خطبے شامل ہیں۔ مجموعی طور پر کل ۱۲ خطبے ہیں اور ہر دو خطبہ کے درمیان متعلقہ موضوع پردلکش نظم پیش کی گئی ہے۔ کتاب کے اختتام پر " قطعہ تاریخ تالیف" سے اندازہ ہوتا ہے کہ ان تمام خطبوں کو 1294 ہجری میں لکھا گیا ہے۔ دو خطبوں کے درمیان جن نظموں کو پیش کرنے کا اہتمام کیا گیا ہے ،یہ تمام نظمیں دل کو چھو لینے والی ہیں۔ قاری پڑھتے ہوئے روحانیت کی ایسی دنیا میں پہنچ جاتا ہے جہاں پر ہر چیز ہیچ اور یادِ رب عزیز بن جاتی ہے۔ کتاب کے اختتام پر آداب جمعہ اور احکام جمعہ پر چند اہم باتیں بیان کی گئی ہیں ، جس کا پڑھنا یقیناً علم و معرفت میں اضافہ کرے گا۔

.....और पढ़िए

लेखक: परिचय

हसन बरेलवी, मौलाना हसन रज़ा ख़ाँ (1859-1908)बरेली के एक बड़े धार्मिक घराने के चश्म-ओ-चराग़ थे। उनके बड़े भाई मौलाना आहमद रज़ा ख़ाँ ने एक नए इस्लामी पंथ की संस्थापना की। हसन बरेलवी ने भी बचपन में सारे धार्मिक ग्रंथ पढ़े। मगर दिल में इ’श्क़ की लहर थी जो शा’इरी बन कर लफ़्ज़ो में जारी हुई। मिर्ज़ा ‘दाग़’ देहलवी के शागिर्द हुए और आगे चल कर ख़ुद अपने रंग के उस्ताद हो गए।

.....और पढ़िए
For any query/comment related to this ebook, please contact us at haidar.ali@rekhta.org

लेखक की अन्य पुस्तकें

लेखक की अन्य पुस्तकें यहाँ पढ़ें।

पूरा देखिए

लोकप्रिय और ट्रेंडिंग

सबसे लोकप्रिय और ट्रेंडिंग उर्दू पुस्तकों का पता लगाएँ।

पूरा देखिए

Jashn-e-Rekhta | 13-14-15 December 2024 - Jawaharlal Nehru Stadium , Gate No. 1, New Delhi

Get Tickets
बोलिए