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aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

लेखक : बिस्मिल सईदी

प्रकाशक : मुंशी गुलाब सिंह एंड संस, लाहौर

प्रकाशन वर्ष : 1951

भाषा : Urdu

श्रेणियाँ : शाइरी

उप श्रेणियां : काव्य संग्रह

पृष्ठ : 219

सहयोगी : रेख़्ता

nishat-e-gham
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लेखक: परिचय

बिस्मिल सईदी की गिनती बीसवीं सदी के विशुद्ध क्लासिकी ढंग के शायरों में होती है. उनकी ग़ज़लों में पारंपरिक विषय नये रँग और नई आब व ताब के साथ नज़र आते हैं. लेकिन उनकी नज़्में उनकी एक और ही रचनात्मक आयाम का पता देती हैं. यह नज़्में उन सारे मसाइल व विषयों पर आधारित हैं जो उनके दौर के पैदा किये हुए थे.
बिस्मिल सईदी का नाम ईसा मियां था. 06 जनवरी 1901 को टोंक में पैदा हुए. मदरसा आलिया से अरबी और फ़ारसी में शिक्षा प्राप्त करने के बाद रियासत टोंक में मुलाज़िम हो गये. 1940 में जयपुर चले गये और मुमताज़उद्दौला नवाब मुकर्रम अली खां के मुसाहिबों में शामिल हो गये. यहाँ सात साल तक रहे उसकेबाद स्थाई रूप से दिल्ली आगये. 26 अगस्त 1976 को दिल्ली में ही देहांत हुआ. बिस्मिल सईदी सीमाब अकबराबादी के प्रिय शागिर्दों में थे.

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