Font by Mehr Nastaliq Web

aaj ik aur baras biit gayā us ke baġhair

jis ke hote hue hote the zamāne mere

रद करें डाउनलोड शेर

एजाज़ आज़मी

ग़ज़ल 1

 

नज़्म 2

 

अशआर 2

दो तरफ़ था हुजूम सदियों का

एक लम्हा सा दरमियाँ मैं था

मैं वहाँ हूँ जहाँ नहीं कोई

कुछ नहीं था जहाँ वहाँ मैं था

 

पुस्तकें 3

 

"आज़मगढ़" के और शायर

Recitation

Jashn-e-Rekhta | 13-14-15 December 2024 - Jawaharlal Nehru Stadium , Gate No. 1, New Delhi

Get Tickets
बोलिए