तुम को वफ़ा से क्या मतलब है जाओ अपना काम करो
तुम को वफ़ा से क्या मतलब है जाओ अपना काम करो
दिन-भर भटके आवारा से अब जा कर आराम करो
कब रोका है मैं ने तुम को मेरी बातें करने से
नाम अगर होता है तुम्हारा तो मुझ को बदनाम करो
जाने वालों को जाना है कब आते हैं लौट के फिर
सर फोड़ो यादों में उन की रो के सहर से शाम करो
क्या रक्खा है इस की उस की तेरी मेरी करने से
ख़ुद से मिलेंगे बात बनेगी ख़ुद को न यूँ दुश्नाम करो
अहल-ए-ख़िरद से कुछ नहीं बनता हर जानिब कोहराम मचा
ऐसा करो सब ज़ेहनों में अपने दिल रखने का काम करो
- पुस्तक : آہٹ دیوان عزیز (पृष्ठ 224)
- रचनाकार : ارشاد عزیز
- प्रकाशन : مرکزی پبلیکیشنز،نئی دہلی (2022)
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